SBI Bank Warning: भारतीय स्टेट बैंक (SBI) के लाखों ग्राहक साइबर ठगी का शिकार हो सकते हैं. इसी को ध्यान में रखते हुए बैंक ने एक अहम चेतावनी जारी की है. बैंक के ताजा टेक्स्ट मैसेज में ग्राहकों को सतर्क रहने और किसी भी संदिग्ध लिंक पर क्लिक न करने की सलाह दी गई है. यदि आप एसबीआई ग्राहक हैं, तो यह जानकारी आपके लिए बेहद जरूरी हो सकती है.
एसबीआई ने ग्राहकों को भेजा चेतावनी भरा मैसेज
शुक्रवार को एसबीआई के एक ग्राहक को दोपहर 12 बजे एक टेक्स्ट मैसेज मिला, जिसमें बैंक ने साइबर फ्रॉड को लेकर आगाह किया. बैंक ने बताया कि कुछ धोखेबाज एसबीआई के रिवॉर्ड पॉइंट्स रिडीम करने का लालच देकर लोगों को ठगने की कोशिश कर रहे हैं. एसबीआई ने अपने ग्राहकों से अपील की कि वे इन फर्जी मैसेज और कॉल्स पर ध्यान न दें. बैंक के मैसेज में कहा गया, “प्रिय एसबीआई ग्राहक, साइबर ठग आपको एसबीआई रिवॉर्ड पॉइंट्स रिडीम करने के लिए फर्जी एसएमएस भेज रहे हैं. यह एक स्कैम है, कृपया ऐसे मैसेज का जवाब न दें और किसी लिंक पर क्लिक न करें.”
रिवॉर्ड पॉइंट्स के नाम पर नया साइबर फ्रॉड
धोखेबाज अब ग्राहकों को फंसाने के लिए नई रणनीति अपना रहे हैं. वे एसबीआई के रिवॉर्ड पॉइंट्स रिडीम करने के नाम पर लोगों को झांसा दे रहे हैं. कभी फोन कॉल तो कभी टेक्स्ट मैसेज के जरिए ग्राहकों को यह बताया जाता है कि वे कुछ आसान स्टेप्स में अपने रिवॉर्ड पॉइंट्स रिडीम कर सकते हैं. लेकिन असल में यह एक धोखाधड़ी का तरीका है. जिसमें ग्राहकों की निजी जानकारी चुराने की कोशिश की जाती है.
कैसे होता है यह फ्रॉड?
- फर्जी मैसेज भेजना: ठग ग्राहकों को बैंक के नाम से एसएमएस या ईमेल भेजते हैं.
- लिंक पर क्लिक करने की चाल: मैसेज में एक फर्जी लिंक दिया जाता है, जिस पर क्लिक करने से ग्राहक एक नकली वेबसाइट पर पहुंच जाता है.
- जानकारी चुराना: जैसे ही ग्राहक अपनी जानकारी डालता है. उसका बैंक अकाउंट और पर्सनल डाटा हैकर्स के पास पहुंच जाता है.
- अकाउंट से पैसे निकालना: इसके बाद ठग इस जानकारी का इस्तेमाल कर ग्राहक के खाते से पैसे निकाल लेते हैं.
साइबर फ्रॉड से बचने के लिए क्या करें?
- अनजान लिंक पर क्लिक न करें: किसी भी संदिग्ध मैसेज में दिए गए लिंक पर क्लिक न करें, चाहे वह कितना भी असली लगे.
- बैंक से सीधे संपर्क करें: यदि आपको कोई मैसेज संदिग्ध लगता है, तो तुरंत एसबीआई की आधिकारिक वेबसाइट या हेल्पलाइन नंबर पर संपर्क करें.
- ओटीपी किसी को न बताएं: बैंक कभी भी ओटीपी (OTP) या पासवर्ड नहीं मांगता. यदि कोई ऐसा करने की कोशिश करता है, तो यह निश्चित रूप से धोखाधड़ी है.
- सिक्योरिटी अपडेट्स को फॉलो करें: अपने बैंक खाते को सुरक्षित रखने के लिए समय-समय पर बैंक से मिलने वाले सिक्योरिटी अपडेट्स को फॉलो करें.
क्या करना चाहिए यदि आप फ्रॉड का शिकार हो गए हैं?
यदि किसी ग्राहक के साथ साइबर ठगी हो जाती है, तो उसे तुरंत निम्नलिखित कदम उठाने चाहिए:
- बैंक को तुरंत सूचित करें: एसबीआई की ग्राहक सेवा पर कॉल करके घटना की जानकारी दें.
- नेट बैंकिंग और यूपीआई को तुरंत ब्लॉक करें: यदि आपका बैंक अकाउंट खतरे में है, तो तुरंत इंटरनेट बैंकिंग और यूपीआई को अस्थायी रूप से ब्लॉक कर दें.
- साइबर सेल में शिकायत दर्ज कराएं: अपने नजदीकी साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन में जाकर शिकायत दर्ज कराएं.
- ट्रांजैक्शन डिटेल्स रखें: बैंक के साथ शिकायत दर्ज करते समय अपने सभी लेनदेन की जानकारी दें.
बैंकिंग फ्रॉड के मामलों में बढ़ोतरी
पिछले कुछ वर्षों में भारत में डिजिटल ट्रांजैक्शन तेजी से बढ़े हैं, जिसके चलते साइबर फ्रॉड के मामलों में भी इजाफा हुआ है. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की एक रिपोर्ट के अनुसार 2023 में देश में बैंकिंग फ्रॉड के 10,000 से अधिक मामले सामने आए. इनमें से अधिकतर मामले साइबर ठगी से जुड़े हुए थे.
सरकार और बैंक क्या कर रहे हैं?
एसबीआई और अन्य बैंक अपने ग्राहकों को साइबर फ्रॉड से बचाने के लिए समय-समय पर चेतावनी जारी करते हैं. इसके अलावा भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) और साइबर सुरक्षा एजेंसियां भी इस तरह के मामलों पर सख्ती से नजर रख रही हैं.